Chandauli News: चन्दौली में सीएमएस डॉ उर्मिला सिंह को पड़ी फटकार, चकिया अस्पताल में हुआ ट्रांसफर

 
रिपोर्ट - चंदन सिंह

चंदौली। कुर्सी का मोह हर किसी को है, चाहे वह राजनीतिक पार्टियां हों या फिर नौकरशाही या अफसरशाही विभाग हो। कुछ इसी तरह का मामला विगत दिनों जनपद चंदौली के जिला अस्पताल में खेला जा रहा था। सीएमएस और नोडल प्रधानाचार्य की कुर्सी पर जमी डा उर्मिला सिंह के 62 वर्ष की अवस्था पूरा करने के बाद शासन स्तर से जारी निर्देशों के बावजूद कुर्सी का मोह चिपकाए रहा।


शासनादेश के तहत लेवल - 04 तक के 62 वर्ष पूर्ण करने वाले ऐसे चिकित्सक जो प्रशासनिक पद पर कार्यरत हैं उनके द्वारा जनपद के अप्रशासनिक पद पर योगदान किया जाएगा। जिला अस्पताल की सीएमएस/ नोडल प्रधानाचार्य डा उर्मिला सिंह द्वारा प्रशासन स्वास्थ्य विभाग के महानिदेशक द्वारा जारी परिपत्र के निर्देशों की अवहेलना करते हुए पद पर कायम रहा गया। जबकि शासन स्तर ने सीएमएस/नोडल प्रधानाचार्य की जिम्मेदारी डा सत्यप्रकाश को सौंप दी थी।
बुधवार को महानिदेशक स्वास्थ्य प्रशासन ने शासन स्तर द्वारा जारी परिपत्र की अवहेलना और शासनदेशों की उदासीनता के तदर्थ डा उर्मिला सिंह को बकायदा पत्र जारी कर यह आदेशित किया गया है कि पत्र की प्राप्ति के पश्चात् एक कार्यदिवस के अंदर नोडल प्रधानाचार्य, बाबा कीनाराम स्वशासी राज्य चिकित्सा महाविद्यालय, चंदौली के पद का प्रभार नियमानुसार वरिष्ठतम चिकित्साधिकारी को सौंपे।

 

साथ ही चकिया स्थित जिला संयुक्त चिकित्सालय जो 130 शैय्या का है उसमें अपना योगदान सुनिश्चित करें। जारी परिपत्र में महानिदेशक ने स्पष्ट रूप से उल्लिखित किया है कि आदेश के अनुपालन की दशा में आपके विरुद्ध विभागीय अनुसाशकीय कार्यवाही सुनिश्चित की जाएगी। विदित हो कि डा उर्मिला सिंह का कार्यकाल 31 दिसंबर को खत्म हो गया था। लेकिन शासनादेश की अवहेलना कर उनके द्वारा नोडल प्रधानाचार्य की कुर्सी पर कब्जा किया गया था। जबकि नियमन 62 वर्ष की अवस्था पूर्ण कर लेने वाले प्रशासकीय अधिकारी को चिकित्सा क्षेत्र में अप्रशासकीय रूप में सिर्फ योगदान देने का होता है। नियमन उनके द्वारा पद का दायित्व नवागत सीएमएस डा सत्यप्रकाश को एक जनवरी को ही सौंप दिया जाना था।